अपराधी मनीष सिंह उर्फ सोनू को एसटीएफ ने मार गिराया

वाराणसी में दो लाख के इनामी मनीष सिंह सोनू को यूपी एसटीएफ ने लोहता इलाके में मुठभेड़ में मार गिराया। 5 अप्रैल 2021 को शूलटंकेश्वर के पास हुई एनडी तिवारी हत्याकांड का मुख्य शूटर था सोनू सिंह। यूपी में योगीआदित्‍यनाथ की दूसरी सरकार बनने के बाद पहला बड़ा एनकाउंटर है।

प्रदेश में योगी सरकार की वापसी के साथ ही अपराधियों पर कड़ा शिकंजा कसना शुरू हो चुका है। इसी कड़ी में सोमवार को वाराणसी के लोहता में कुख्यात अपराधी मनीष सिंह उर्फ सोनू को यूपी एसटीएफ ने मुठभेड़ में मार गिराया। इस बाबत एसटीएफ आईजी लखनऊ की ओर से बताया गया कि शातिर अपराधी मनीष सिंह उर्फ सोनू पर दो लाख का इनाम था। पूर्वांचल के वाराणसी, जौनपुर और गाजीपुर सहित तमाम जिलों में उसकी आपराधिक गतिविधियां काफी समय से चर्चा में रही हैं। एसटीएफ को सोनू की लोकेशन लोहता के पास मिलने के बाद कार्रवाई शुरू हुई तो टीम ने मुठभेड़ में उसे ढेर कर दिया। मनीष सिंह उर्फ सोनू सिंह जो वाराणसी के नरोत्‍तमपुर, लंका का मूल निवासी था और इन दिनों चोलापुर के सुलेमापुर में रहता था

मनीष सिंह पर वाराणसी के अलावा अन्‍य जिलों के थाने में भी केस दर्ज हैं। वाराणसी चौक, कैंट, कोतवाली, चौबेपुर, भेलूपुर, फूलपुर, सिगरा, रोहनिया, लंका, चेतगंज में मुकदमा है। वहीं सीतापुर, शाहजहांपुर, आजमगढ़ के देव गांव, जौनपुर के देव गांव, गाजीपुर के नंदगंज में पुलिस के रिकार्ड में नाम है।

मनीष सिंह ‘सोनू’ एक कुख्यात बदमाश था। लंका थाना क्षेत्र के नरोत्तमपुर निवासी अनिल सिंह का  बेटा मनीष सिंह ‘सोनू’ बचपन से चोलापुर के उंदी गांव में अपने एक रिश्तेदार के यहां रहता था। सोनू शुरू से ही अपराधिक मानसिकता का था। मुठभेड़ में सनी सिंह के मारे जाने के बाद मनीष सिंह खुलकर वाराणसी सहित आसपास के कई जनपदों में व्यापारियों को धमकी देकर रंगदारी मांगने के मामलें में जुट गया। दो लाख के इनामी बदमाश मनीष सिंह सोनू पर वाराणसी, मीरजापुर, आजमगढ़ सहित अन्य जनपदों के विभिन्न थानों में लगभग दो दर्जन से अधिक मुकदमें दर्ज हैं।

पहले सोनू पर एक लाख का इनाम घोषित था, जिसे 28 अगस्त को चौकाघाट काली मंदिर के पास हुए डबल मर्डर की घटना में सीसीटीवी फुटेज में चिन्हित होने के बाद एडीजी वाराणसी जोन वृजभूषण की संस्तुति के बाद दो लाख का इनाम कर दिया गया था। तब से पुलिस उसकी तलाश में थी। मनीष सिंह सोनू का नाम रोहनियां के एक व्यापारी से दस लाख की रंगदारी मांगने में सामने आया था। वर्ष 2021 के पांच अप्रैल को शुलटंकेश्वर से दर्शन-पूजन कर लौट रहे एनडी तिवारी की हत्या में भी उनका नाम सामने आया था। सितंबर 2020 में भी मीरजापुर के चुनार में एक कंपनी के अधिकारी से रंगदारी मांगने और हत्या के मामले में नाम सामने आया था।

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